कामदा एकादशी व्रत || Vaibhav Vyas

कामदा एकादशी व्रत 


 कामदा एकादशी व्रत से मिलता मोक्ष हिंदू धर्म में हर एकादशी का विशेष महत्व होता है। हर महीने में 2 एकादशी आती हैं। ऐसे में सालभर में कुल मिलाकर 24 एकादशी होती है। चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को कामदा एकादशी का व्रत रखा जाता है। ऐसी मान्यता है कि इस व्रत को रखने से व्यक्ति को सभी दुखों से मुक्ति मिलती है। साथ ही व्यक्ति को सुख समृद्धि और वैभव की प्राप्ति होती है। ऐसा कहा जाता है कि एकादशी व्रत को रखने से व्यक्ति को राक्षस योनि की प्राप्ति नहीं होती बल्कि मोक्ष मिलता है। कामदा एकादशी का फलदा एकादशी का नाम से जाना जाता है।  एकादशी तिथि का आरंभ 18 अप्रैल को शाम में 5 बजकर 32 मिनट पर होगा और 19 अप्रैल को रात में 8 बजकर 5 मिनट पर एकादशी तिथि समाप्त होगी। ऐसे में कामदा एकादशा का व्रत 19 अप्रैल को ही रखा जाएगा। इस दिन भगवान विष्णु के साथ माता लक्ष्मी की भी उपासना की जाती है। कामदा एकादशी महत्व- शास्त्रों के अनुसार, कामदा एकादशी का व्रत रखने से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। साथ ही घर परिवार में सुख समृद्धि बनी रहेगी। इस व्रत को रखने से व्यक्ति को अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है। साथ ही एकादशी तिथि पर मां लक्ष्मी की भी उपासना करनी चाहिए। मां लक्ष्मी की उपासना करने से व्यक्ति को धन, ऐश्वर्य और सौभाग्य की प्राप्ति होती है। कामदा एकादशी पूजा विधि- कामदा एकादशी के दिन सुबह जल्दी उठें और अपने इष्ट देवी देवता का ध्यान करें। इसके बाद हो सके तो पीले रंग के वस्त्र धारण करें। फिर एक लकड़ी की चौकी पर साफ कपड़ा बिछाएं। इसके बाद भगवान विष्णु को अक्षत, हल्दी, चंदन और फूल अर्पित करें। इसके बाद घी का दीपक जलाकर भगवान विष्णु की आरती करें। साथ ही विष्णु चालीसा का पाठ भी करें। साथ ही इस दिन सुबह और शाम दोनों समय तुलसी माता के सामने घी का दीपक जलाएं। ऐसा करने से भगवान विष्णु जल्दी प्रसन्न होते हैं।

Comments