नवरात्रि में मां के मंत्र जाप से दूर होंगे कष्ट और बाधाएं || Vaibhav Vyas


 नवरात्रि में मां के मंत्र जाप से दूर होंगे कष्ट और बाधाएं

चैत्र या शारदीय नवरात्रि कि तरह आषाढ़ 2023 नवरात्रि की तरह ही गुप्त नवरात्रि में नौ दिनों तक दुर्गा सप्तशति का पाठ किया जाता है। साधक दस महाविद्याओं की साधना करते हैं। मान्यता है कि गुप्त नवरात्रि में मां की पूजा करने से व्यक्ति के जीवन के सभी दु:ख और संकट का दूर हो जाते हैं। साथ ही साधक को मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है। देवी भगवती के साधक बेहद कड़े नियम के साथ व्रत और साधना करते हैं। साथ ही मां को प्रसन्न कर दुर्लभ शक्तियों की प्राप्ति करने का प्रयास करते हैं। मान्यता है कि मां अपने भक्तों की साधना से प्रसन्न होकर उसकी सभी मनोकामना पूर्ण करती हैं।

हिंदू धर्म में देवी दुर्गा की पूजा सभी कष्टों को दूर करके मनोकामनाओं को पूरा करने वाली मानी गई है। पौराणिक मान्यता के अनुसार देवी दुर्गा के कई स्वरूप माने गए हैं, जिनकी पूजा करने पर साधक को अलग-अलग फल की प्राप्ति होती है। देवी के 10 पावन स्वरूप यानि दस महाविद्या की पूजा करके यदि आप मनवांछित फल पाना चाहते हैं तो इसके लिए आषाढ़ मास में पडऩे वाली गुप्त नवरात्रि का महापर्व सबसे शुभ और फलदायी है, जो कि 19 जून 2023 को प्रारंभ होने जा रही है। शक्ति के महापर्व यानि आषाढ़ गुप्त नवरात्रि पर देवी दुर्गा के 10 स्वरूपों की पूजा करने का मंत्र जानते हैं, जिसे जपते ही साधक को मनचाहा वरदान मिलता है।

10 महाविद्या की पूजा का मंत्र-

पहली महाविद्या मां काली का मंत्र : 'क्रीं ह्रीं काली ह्रीं क्रीं स्वाहा।।Ó

दूसरी महाविद्या मां तारा का मंत्र : 'ऊँ ह्रीं स्त्रीं हूं फट।।Ó

तीसरी महाविद्या मां त्रिपुरसुंदरी का मंत्र : 'ऊँ ऐं ह्रीं श्रीं त्रिपुर सुंदरीये नम:।।Ó

चौथी महाविद्या मां भुवनेश्वरी का मंत्र : 'ह्रीं भुवनेश्वरीय ह्रीं नम:।।Ó

पांचवीं महाविद्या मां छिन्नमस्ता का मंत्र : 'श्रीं ह्रीं क्लीं ऐं वज्र वैररोचनिए हूं हूं फट स्वाहा।।Ó

छठवीं महाविद्या मां त्रिपुर भैरवी का मंत्र : 'ऊँ ह्रीं भैरवी क्लौं ह्रीं स्वाहा।।Ó

सातवीं महाविद्या मां धूमावती का मंत्र : 'धूं धूं धूमावती दैव्ये स्वाहा।।Ó

आठवीं महाविद्या मां बगलामुखी का मंत्र : 'ऊँ ऐं ह्रीं श्रीं बगलामुखी सर्वदृष्टानां मुखं, पदम् स्तम्भय जिव्हा कीलय, शत्रु बुद्धिं विनाशाय ह्रलीं ऊँ स्वाहा।।Ó

नौवीं महाविद्या मां मातंगी का मंत्र- 'क्रीं ह्रीं मातंगी ह्रीं क्रीं स्वाहा।।Ó

दसवीं महाविद्या मां कमला का मंत्र- 'क्रीं ह्रीं कमला ह्रीं क्रीं स्वाहा।।Ó

दस महाविद्या की पूजा के लाभ- नवराात्रि में जहां देवी के 10 स्वरूपों के प्रत्यक्ष रूप से साधना की जाती है, वहीं गुप्त नवरात्रि में गुप्त रूप से साधना करने का विधान है। मान्यता है कि जो व्यक्ति गुप्त नवरात्रि में तन और मन से पवित्र होकर शक्ति की साधना-आराधना और माता के मंत्रों का जाप करता है, उसकी हर मंगल कामना को देवी जल्द ही पूरा करती हैं। गुप्त नवरात्रि में दस महाविद्या के मंत्र साधना से साधक के जीवन से जुड़े बड़े से बड़े कष्ट पलक झपकते दूर होते हैं। गुप्त नवरात्रि के पुण्य प्रभाव से साधक के जीवन में पूरे साल सुख-सौभाग्य कायम रहता है और उसे जीवन में किसी भी प्रकार के शत्रु या बाधा का भय नहीं रहता है।

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