सावन में करें शिव परिवार की पूजा || Vaibhav Vyas


 सावन में करें शिव परिवार की पूजा

सभी मास किसी न किसी देवता के साथ संबंधित हैं जिसके तहत सावन का महीना भगवान शिवजी से जुड़ा हुआ है। इस समय शिव आराधना का विशेष महत्व होता है। कहा जाता है कि यह माह आशाओं की पूर्ति का समय होता है।

सावन माह में भगवान शिव की पूजन विधि- भगवान शिवजी की पूजा में गंगाजल के उपयोग को विशिष्ट माना जाता है। शिवजी की पूजा आराधना करते समय उनके पूरे परिवार अर्थात् शिवलिंग, माता पार्वती, कार्तिकेयजी, गणेशजी और उनके वाहन नन्दी की संयुक्त रूप से पूजा की जानी चाहिए। शिवजी के स्नान के लिए गंगाजल का उपयोग किया जाता है। इसके अलावा कुछ लोग भांग घोंटकर भी चढ़ाते हैं। शिवजी की पूजा में लगने वाली सामग्री में जल, दूध, दही, चीनी, घी, शहद, पंचामृत, कलावा, वस्त्र, जनेऊ, चन्दन, रोली, चावल, फूल, बिल्वपत्र, दूर्वा, फल, विजिया, आक, धूतूरा, कमल-गट्टा, पान, सुपारी, लौंग, इलायची, पंचमेवा, धूप, दीप का इस्तेमाल किया जाता है।

सावन के महीने में भगवान शिव की पूजा की जाती है। कुंवारी लड़कियां योग्य वर की प्राप्ति के लिए सावन सोमवार के व्रत रखती हैं। 12 अगस्त तक चलने वाले सावन के महीने में कुछ खास उपाय करने से भगवान शिव शीघ्र प्रसन्न होते हैं। 

श्रावण मास के दौरान भगवान शिव को पंचामृत चढ़ाकर रुद्राभिषेक करने से मन और शरीर को शांति मिलती है। सावन के महीने में व्रत रखना काफी शुभ माना जाता है। व्रत रखना सेहत के लिए भी काफी फायदेमंद माना जाता है। इस महीने में महामृत्युंजय मंत्र का जाप करना काफी शुभ माना जाता है। सावन के महीने में श्रावण सोमवार व्रत रखने के साथ ही साथ कथा का श्रवण-वाचन और पवित्र रुद्राक्ष धारण करना भी काफी पवित्र और शुभ माना जाता है। सावन में जो लोग व्रत रखते हैं उन्हें सात्विक भोजन का सेवन करना चाहिए।

सावन के महीने में पडऩे वाले सोमवार के दिन शिवलिंग पर अनार के जूस से अभिषेक करें। इससे घर में चलने वाली आर्थिक तंगी से छुटकारा मिलेगा। अगर आपके घर में कोई अक्सर बीमार रहता है तो सावन के महीने में रोजाना पानी में काले तिल मिलाकर शिवलिंग का अभिषेक करें। अगर आपके जीवन में दिक्कतें आ रही हैं या बनते हुए काम बिगड़ रहे हैं तो पत्नी के साथ मिलकर भगवान शिव और माता पार्वती को चावल से बनाई गई खीर चढ़ाएं।

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