सहनशक्ति मजबूत बनायें ।

 उत्तरी भारत में मौसम के बदलाव का समय है। इसी समय मौसमी बीमारियां अपना जोर पकड़ती है। एक तो मौसम का बदलाव और उसके साथ में मौसमी बीमारियों का जोर पकड़ लेना। ये सामंजस्य प्रत्येक मौसम परिवर्तन के समय सुनते हैं। घर-परिवार में, मेडिको फील्ड में यह सलाह दी जाती है कि यहां पर आप खान-पान का अधिक ख्याल रखने वाले हों। जब दोपहर के समय आपने कुछ भी ऊनी वस्त्र पहन रखे हैं और पसीने की बूंदे धीरे-धीरे अंदर आने लगती है तो अब स्वेटर या जैकेट को साइड में रख दिया जाए और हम एक कन्फर्ट फील करने वाले हों। वहीं से ठंडी का झोंका आता है और बीमारी की चपेट में ले लेता है। किन्तु यही मानवीय स्वभाव है और आप इस स्थिति को हमारे व्यक्तिगत जीवन में भी जोड़कर देख सकते हैं। जो सहनशक्ति, शुरुआती स्तर पर थोड़ी सी बननी चाहिए, वहीं पर ये अपना आपा खो देता है और वहीं पर उसको लगता है कि नहीं मैं स्वाभाविक तौर पर ही रहूंगा। मैं कोई भी परिवर्तन नहीं चाहता हूं। 

जब भरपूर सर्दियां है तो व्यक्ति पहनने ओढऩे का ध्यान रखेगा वहां लापरवाही नहीं बरतेगा। किन्तु जैसे ही ये परिवर्तन सामने आएंगे और वहीं पर हम एक तरह से स्वाभाविक तौर पर उस प्रक्रिया में आ चुके होंगे जो अगले मौसम के बदलाव के साथ में संकेत मात्र है। तो इसी वजह से व्यवस्थित तौर पर जीवन में भी यही स्थिति नजर आती है। हमारा वैवाहिक जीवन आगे बढऩे की शुरुआत हुई। किसी रिलेशन के अंदर है तो वहां व्यक्ति अगले के साथ में सामंजस्य स्थापित करने की बजाय यह बताता है कि मैं कैसे रहता रहा हूं। 

मेरी आदतें क्या है और इसी के साथ में आपको जीवन जीना होगा किन्तु वहां सिर्फ एक हल्के फुल्के स्तर पर तथाकथित सहनशक्ति की आवश्यकता है जिसके साथ में चलते हुए जीवन में अपने आप ही अपने रंगत के स्वरूप में आ चुका होगा। किन्तु वहीं शुरुआती पेसेंस का लेवल है वो कई बार खो बैठता है और वहीं पर गलतियों के सारे अंदेशें निकल कर सामने आते हैं। कोई भी क्षेत्र विशेष हो वहां शुरुआत पर जो रियेक्शन है, मौसम की तरह ही सामने आए तो हो सकता है कुछ दिन आगे के तकलीफ के निकले और हम यही कहते रह जाएं कि मौसम जब भी बदलता है हमारे लिए बीमारियों के सरोकार लाता है। वहां प्रो-एक्टिव रहकर थोड़ा सा ध्यान रख जाए और अपने सहनशक्ति को बढ़ा दें तो आप देखियेगा, काफी हद तक व्यक्तिगत जीवन में भी और मौसमी बदलाव के साथ में भी हम खुद को आगे बढ़ाते चले जाएंगे और बिना किसी भी रोक की स्थितियों के।

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